भारतीय क्रिकेट टीम के स्टार तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी की फिटनेस एक बार फिर चर्चा में है। पिछले एक साल से शमी क्रिकेट से बाहर हैं और उनकी वापसी को लेकर अभी भी अनिश्चितता बनी हुई है। हाल ही में न्यूजीलैंड के खिलाफ चल रही टेस्ट सीरीज में शमी की वापसी की उम्मीद थी, लेकिन घुटने की सूजन के कारण वो फिर से टीम में नहीं आ सके। हालांकि उन्होंने हाल ही में नेट्स में बॉलिंग शुरू की है, लेकिन उनकी पूरी फिटनेस को लेकर संशय बना हुआ है।
शमी की फिटनेस के चलते आगामी ऑस्ट्रेलिया दौरे पर उनका खेलना संदिग्ध है। इसको लेकर चर्चाएं हो रही हैं कि अगर शमी पूरी तरह फिट नहीं हो पाते, तो उनकी जगह किसे मौका मिलेगा। इस बीच, ऑस्ट्रेलिया के पूर्व तेज गेंदबाज ब्रेट ली ने टीम इंडिया को सुझाव दिया है कि वे मयंक यादव को मौका दें। मयंक यादव ने आईपीएल 2024 में अपनी तेज़ रफ्तार गेंदबाजी से सभी को प्रभावित किया था और ब्रेट ली का मानना है कि मयंक ऑस्ट्रेलियाई पिचों पर बेहतरीन प्रदर्शन कर सकते हैं।
ब्रेट ली ने मयंक को एक ‘कम्प्लीट पैकेज’ बताते हुए कहा है कि उनकी 150 किलोमीटर प्रतिघंटा से ज्यादा की रफ्तार वाली गेंदें किसी भी बल्लेबाज के लिए चुनौतीपूर्ण हो सकती हैं। ली का मानना है कि अगर शमी फिट नहीं होते हैं, तो मयंक यादव को भारतीय टीम के स्क्वॉड में शामिल करना चाहिए।
हालांकि, मयंक यादव का अनुभव और फिटनेस भी टीम चयन में एक महत्वपूर्ण पहलू होगा। उन्होंने अब तक सिर्फ एक फर्स्ट क्लास मैच खेला है और उसमें भी चोट के कारण बाहर हो गए थे। ऐसे में चयन समिति को उनके चयन से पहले इस बात पर विचार करना होगा कि क्या मयंक टेस्ट क्रिकेट के लिए पूरी तरह से तैयार हैं।
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सीरीज 22 नवंबर से शुरू हो रही है और पहला मैच पर्थ में होगा, जहां की तेज पिचों पर मयंक की रफ्तार भारतीय टीम के लिए फायदेमंद साबित हो सकती है।
ऑस्ट्रेलिया दौरे की चुनौती और पर्थ की तेज़ पिच को देखते हुए टीम इंडिया को हर पहलू पर गहराई से विचार करना होगा। मयंक यादव की तेज़ गेंदबाजी निश्चित रूप से भारतीय टीम के लिए एक नया हथियार साबित हो सकती है, लेकिन उनके सीमित अनुभव और फिटनेस को लेकर भी सवाल खड़े होते हैं। उन्होंने सिर्फ एक फर्स्ट क्लास मैच खेला है, और उसमें भी चोटिल होकर बाहर हो गए थे, जिससे उनकी लम्बी फॉर्मेट में स्थिरता पर संदेह बना रहता है।
इसके बावजूद, मयंक यादव ने जिस तरह से आईपीएल 2024 में लगातार 150 किलोमीटर प्रति घंटे से ज्यादा की गति से गेंदबाजी की और बल्लेबाजों को परेशान किया, उसने उन्हें चयनकर्ताओं की नजरों में ला खड़ा किया है। ब्रेट ली जैसे दिग्गज का उनके पक्ष में बोलना भी चयनकर्ताओं के लिए एक मजबूत संकेत है। ली का कहना है कि मयंक की गति और उनकी आक्रामक शैली ऑस्ट्रेलियाई पिचों पर भारत के लिए एक गेम-चेंजर साबित हो सकती है, खासकर तब जब पर्थ जैसे मैदान पर तेज गेंदबाजों को ज्यादा मदद मिलती है।
लेकिन टीम चयन के दौरान सिर्फ रफ्तार और पोटेंशियल के आधार पर निर्णय लेना संभव नहीं है। चयन समिति को इस बात का भी ध्यान रखना होगा कि टेस्ट क्रिकेट में गेंदबाजों को लंबी स्पेल डालने होते हैं, और उसमें उनकी फिटनेस और अनुभव का अहम योगदान होता है। जहां जसप्रीत बुमराह और मोहम्मद सिराज जैसे अनुभवी गेंदबाज टीम का हिस्सा हैं, मयंक को उनकी सहायता में इस्तेमाल किया जा सकता है, लेकिन यह देखना होगा कि क्या वे टेस्ट क्रिकेट की लम्बी और कठिन चुनौतियों के लिए तैयार हैं।
फिलहाल, मयंक यादव न्यूजीलैंड के खिलाफ सीरीज में भारतीय टीम के साथ रिजर्व खिलाड़ी के रूप में शामिल हैं। अगर उन्हें यहां अधिक गेंदबाजी करने का मौका मिलता है, तो वे खुद को और बेहतर ढंग से तैयार कर सकते हैं। इसका फायदा यह होगा कि वे अपनी लय और फिटनेस को और परख सकेंगे, जिससे चयनकर्ताओं को निर्णय लेने में मदद मिल सकेगी।
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पांच टेस्ट मैचों की यह सीरीज भारतीय टीम के लिए बेहद महत्वपूर्ण होगी, और यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या मयंक यादव को इस सीरीज के लिए भारतीय टीम में शामिल किया जाता है या फिर शमी की फिटनेस के ठीक होने का इंतजार किया जाएगा।
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